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हमारे हिन्दू धर्म में कई ऐसी परंपराएं हैं, जिनका पालन सदियों से किया जा रहा है.
इसमें से एक परंपरा पति के पैर छूने की है. लेकिन इसको लेकर कई सवाल भी उठते हैं.
पति का पैर छूना सही या गलत? चलिए आपको इसके बारे में बताते हैं.
माना जाता है कि पति के पैर छूने से पति-पत्नी के बीच प्रेम बढ़ता है.
पैर छूना समर्पण भाव को दिखाया है. इसका मतलब है कि ऐसा करने से पति के प्रति पत्नी के समर्पण को दिखाता है.
पत्नी के मन में हमेशा पति के लिए सम्मान की भावना और पति के मन में पत्नी के प्रति जिम्मेदारी का एहसास बना रहे. इसलिए ये परंपरा बनाई गई है.
हालांकि पैर छूने के लिए की बाध्यता नहीं है. लेकिन ज्यादातर महिलाएं इस परंपरा को निभाती हैं.
हिंदू धर्म में सिर्फ पति के पैर छूने की परंपरा नहीं है. इसमें घर के बड़े-बुजुर्ग, संत-महात्मा, गुरू के पैर छूने की परंपरा काफी समय से चली आ रही है.
हालांकि आज के समय में आप पति के पैर छूना चाहते हैं या नहीं ये आपपर निर्भर करता है.