शिवलिंग पर क्यों नहीं चढ़ाते नारियल जल?

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सावन का महीना शुरू हो गया है. ये पवित्र माह भगवान शिव को समर्पित होता है. शिव भक्त शिवलिंग पर जल चढ़ाते हैं.

शिवलिंग पर नारियल का जल क्यों नहीं चढ़ाया जाता? आइए इस बारे में जानते हैं.

शिवलिंग पर नारियल का जल चढ़ाना वर्जित माना जाता है. नारियल को देवी शक्ति का प्रतीक माना गया है.

नारियल को यह ऊर्जा और तेज़ का प्रतिनिधित्व करता है. इसलिए इसे देवी पूजन में चढ़ाया जाता है लेकिन शिव को नहीं चढ़ाया जाता.

भगवान शिव तपस्वी हैं. उन्हें ठंडक देने वाले पदार्थ प्रिय हैं. भोलेनाथ को जल, दूध, दही, बेलपत्र और भस्म पसंद है.

नारियल जल तेज़ ऊर्जा युक्त माना जाता है. शिव की "शांत" और "तपस्वी" प्रकृति के विपरीत है. इसलिए यह विरोधाभास पैदा करता है.

कई शिव मंदिरों में लिखा होता है कि नारियल का जल चढ़ाना वर्जित है. यह परंपरा और आस्था पर आधारित है.

शिवलिंग पर नारियल जल तो चढ़ाते नहीं है. इसके अलावा तुलसी के पत्ते और हल्दी भी नहीं चढ़ाते हैं.

शिवलिंग पर जल के अलावा दूध-दही को चढ़ाना चाहिए. इसके अलावा बेलपत्र, भस्म, धतूरा और शहद भी चढ़ा सकते हैं.

नोट- यहां बताई गईं सभी बातें सामान्य जानकारी पर आधारित है. Gnttv.com इसकी पुष्टि नहीं करता है.