सोने की कीमतों में उच्चतम स्तर से 10% तक की गिरावट आई है। इसके मुख्य कारण वैश्विक टैरिफ वॉर के खतरे में कमी, भारत-पाकिस्तान के बीच जियोपॉलिटिकल तनाव का कम होना और सेंट्रल बैंकों द्वारा ब्याज दरों में अपेक्षित तेजी से कटौती न करना हैं। एक्सपर्ट्स के अनुसार, "एक साथ ना खरीद कर स्टैगर्ड फैशन में खरीदते रहें," क्योंकि कीमतों में और करेक्शन आ सकता है, लेकिन साल के अंत तक दाम ₹1,05,000 तक पहुँच सकते हैं।