UP Panchayat Election 2026: प्रधान से लेकर जिला पंचायत अध्यक्ष तक... चुनाव में कौन कितना कर सकता है खर्च? जानिए

उत्तर प्रदेश में त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव के लिए खर्च की सीमा तय कर दी गई है. अब ग्राम प्रधान चुनाव लड़ने वाले प्रत्याशी अब अधिकतम ₹1.25 लाख रुपये तक ही खर्च कर सकेंगे. ग्राम पंचायत सदस्य के लिए यह सीमा ₹10 हजार, क्षेत्र पंचायत सदस्य के लिए ₹1 लाख और जिला पंचायत सदस्य के लिए ₹2.5 लाख रुपये तय की गई है.

UP Panchayat Chunav (Photo/PTI)
आशीष श्रीवास्तव
  • लखनऊ,
  • 04 नवंबर 2025,
  • अपडेटेड 11:26 AM IST

उत्तर प्रदेश में त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव की तैयारी चल रही है. राज्य निर्वाचन आयोग पंचायत चुनाव को लेकर लगातार अपडेट दे रहा है. राज्य निर्वाचन आयोग ने पंचायत चुनाव के लिए खर्च की सीमा तय कर दी है. इस बार ग्राम प्रधान, ग्राम पंचायत सदस्य, जिला पंचायत सदस्य, क्षेत्र पंचायत प्रमुख और जिला पंचायत अध्यक्ष के लिए खर्च करने की सीमा तय कर दी है.

कितना खर्च कर पाएंगे उम्मीदवार-
उत्तर प्रदेश में होने वाले त्रिस्तरीय पंचायत चुनावों के लिए प्रत्याशियों की खर्च सीमा तय कर दी गई है. राज्य निर्वाचन आयोग ने ग्राम प्रधान से लेकर जिला पंचायत अध्यक्ष तक के उम्मीदवारों के लिए अधिकतम व्यय सीमा जारी की है. नई सीमा के अनुसार, ग्राम प्रधान चुनाव लड़ने वाले प्रत्याशी अब अधिकतम ₹1.25 लाख रुपये तक ही खर्च कर सकेंगे. ग्राम पंचायत सदस्य के लिए यह सीमा ₹10 हजार, क्षेत्र पंचायत सदस्य के लिए ₹1 लाख और जिला पंचायत सदस्य के लिए ₹2.5 लाख रुपये तय की गई है. वहीं, क्षेत्र पंचायत प्रमुख को ₹3.5 लाख और जिला पंचायत अध्यक्ष को अधिकतम ₹7 लाख रुपये तक खर्च करने की अनुमति होगी.

पर्चा खरीदने की दर भी तय-
आयोग ने अलग-अलग पदों के लिए नामांकन पत्र (पर्चा) खरीदने और जमानत राशि की दरें भी निर्धारित की हैं. अधिकारियों का कहना है कि यह सीमा चुनावी पारदर्शिता बनाए रखने और खर्च पर नियंत्रण सुनिश्चित करने के लिए तय की गई है. आयोग ने यह भी स्पष्ट किया कि तय सीमा से अधिक व्यय करने वाले प्रत्याशियों के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी. साथ ही, सभी उम्मीदवारों को अपने चुनावी खर्च का ब्यौरा समय पर जमा करना अनिवार्य होगा.

परिसीमन प्रक्रिया भी पूरी-
उत्तर प्रदेश में त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव से पहले परिसीमन प्रक्रिया पूरी कर ली गई है. शहरी क्षेत्रों के तेजी से विस्तार के चलते इस बार 644 क्षेत्र पंचायत वार्ड और 15 जिला पंचायत वार्ड खत्म कर दिए गए हैं. यही नहीं, प्रदेश में 501 ग्राम पंचायतें और करीब 1,700 ग्राम पंचायत वार्ड भी कम हुए हैं.

पंचायतीराज विभाग के मुताबिक, नगर पंचायतों, नगर पालिका परिषदों और नगर निगमों के सृजन व सीमा विस्तार के कारण प्रदेश के 42 जिले इस बदलाव से प्रभावित हुए हैं. इन जिलों में ग्राम पंचायत, क्षेत्र पंचायत और जिला पंचायत वार्डों का नया सीमांकन किया गया है. उच्चपदस्थ सूत्रों ने बताया कि सभी जिलों का डाटा अब लगभग तैयार है और जल्द इसे शासन स्तर पर अनुमोदन के लिए भेजा जाएगा.

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