कैलाश मानसरोवर यात्रा 5 साल बाद फिर से शुरू हुई है और यात्रियों का पहला जत्था अपनी परिक्रमा पूरी करके लौट आया है. इस यात्रा में कुल 750 यात्रियों को चिन्हित किया गया है, जो लिपुलेख और नाथुला के रास्ते से महादेव के दर्शन के लिए जाते हैं. एक यात्री ने अपने अनुभव में कहा, "जहाँ पे भोले हैं, वहाँ पे सब कुछ आदमी भूल जाता है. केवल ओम नमः शिवा ओम नमः शिवा करते हुए यहाँ तक पहुँच जाता है."