अयोध्या के राम मंदिर में 50 करोड़ के सोने का इस्तेमाल किया गया है. राजा राम के दरबार की भव्यता देखकर हर कोई स्तब्ध है. अयोध्या श्रीराम अब बाल स्वरूप से राजा स्वरूप में विराजमान हैं. राम दरबार में राम, सीता, लक्ष्मण, भरत और शत्रुघ्न के साथ भगवान हनुमान की भव्य मूर्तियां स्थापित की गई हैं. काशी से आए 101 विद्वान पंडितों ने मंत्रोच्चार के साथ प्राण प्रतिष्ठा संपन्न कराई.
राम मंदिर में 45 किलो शुद्ध सोना-
राम मंदिर निर्माण समिति के अध्यक्ष नृपेंद्र मिश्र ने बड़ा खुलासा करते हुए बताया कि मंदिर में अब तक 45 किलोग्राम शुद्ध सोने का उपयोग किया गया है. इसकी कीमत टैक्स को छोड़कर करीब 50 करोड़ रुपये आंकी गई है.
सोने का काम मुख्य रूप से भूतल के सभी द्वारों, सिंहासन और शेषावतार मंदिर में हुआ है. मिश्र ने बताया कि मंदिर की भव्यता केवल वास्तुकला का चमत्कार नहीं, बल्कि भगवान श्रीराम की कृपा और दैविक शक्ति का परिणाम है.
हीरे-जवाहरात से सजा राम दरबार-
राम मंदिर में भगवान राम का दरबार हीरे-जवाहरात से सजाया गया है. सूरत के उद्योगपति मुकेश पटेल ने राम दरबार के लिए हीरे और स्वर्णाभूषण दान दिए हैं.
राम मंदिर में 1000 कैरेट के हीरे, 30 किलो चांदी, 300 ग्राम सोना और 300 कैरेट रूबी का इस्तेमाल किया गया है और इससे 11 मुकुट, हार, कुंडल, तिलक और चारों भाइयों के लिए धनुष-बाण बनाए गए हैं.
राम दरबार के लिए विशेष दर्शन मार्ग-
श्रद्धालुओं को राम दरबार के दर्शन की व्यवस्था को लेकर फिलहाल तैयारियां जारी हैं. नृपेंद्र मिश्र ने बताया कि दर्शन फिलहाल सीमित रहेंगे और निशुल्क पास के माध्यम से होंगे. राम दरबार तक एक विशेष मार्ग बनाया जा रहा है, ताकि श्रद्धालुओं को व्यवस्थित रूप से दर्शन कराए जा सकें.
राम मंदिर का मुख्य निर्माण कार्य पूरा-
नृपेंद्र मिश्र ने जानकारी दी कि मुख्य मंदिर का निर्माण कार्य पूरा हो चुका है. अब केवल सहायक संरचनाएं जैसे रामकथा मंडप, संग्रहालय, सभागार और गेस्ट हाउस का काम शेष है, जिसे दिसंबर 2025 तक पूरा कर लिया जाएगा.
पीएम मोदी हैं आधुनिक भारत के भगीरथ- सीएम
इस मौके पर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने नमामि गंगे योजना की सराहना करते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को आधुनिक भारत का भगीरथ बताया. उन्होंने कहा कि राम मंदिर का सपना आज साकार हुआ है, यह राष्ट्र के लिए गर्व का क्षण है.
(मयंक शुक्ला की रिपोर्ट)
ये भी पढ़ें: