अयोध्या के रामकथा पार्क में 22 सितंबर से शुरू होने वाली रामलीला को लेकर विवाद सामने आया है, जिसमें फिल्मी कलाकारों की भागीदारी पर संतों और स्थानीय कलाकारों ने आपत्ति जताई है. संतों का कहना है कि रामलीला आस्था, मर्यादा और परंपरा से जुड़ा मंच है, और फिल्मी कलाकारों को रामलीला के पात्रों की सही जानकारी नहीं होती, वे मर्यादा का पालन नहीं करते, जैसे जूते पहनकर अभिनय करना या युवा लड़कियों का पिता का किरदार निभाना. कुछ संतों ने कहा कि भगवान श्रीराम की गरिमा को बॉलीवुड के ग्लैमर और मनोरंजन के जरिए ठेस पहुंच सकती है. वहीं, कुछ श्रद्धालुओं और संतों का मानना है कि फिल्मी कलाकारों का रामलीला में आना सनातन धर्म की जीत है और इससे भगवान राम के विचारों का प्रसार होगा. राजू दास जी और चंद्रशु जी महाराज जैसे वक्ताओं ने सुझाव दिया कि प्रोड्यूसर को संतों से मिलकर उनकी आपत्तियों को समझना चाहिए और सुधार करना चाहिए ताकि अयोध्या की गरिमा बनी रहे. रामलीला, अयोध्या, फिल्मी कलाकार, संत, विवाद, परंपरा, मर्यादा, भगवान श्रीराम, सनातन धर्म, बॉलीवुड, रामकथा पार्क जैसे इस विषय से जुड़े हैं.