सात साल की संयुक्ता नारायणन ने अपने ताइक्वांडो कौशल से भारत और दुनिया को चौंका दिया है. मदुरै की इस बच्ची ने गिनीज वर्ल्ड रिकॉर्ड्स (GWR) में "सबसे कम उम्र की ताइक्वांडो प्रशिक्षक" होने का खिताब जीता है.
गिनीज वर्ल्ड रिकॉर्ड्स ने इंस्टाग्राम पर एक पोस्ट में कई तस्वीरें पोस्ट कीं और लिखा, "सात साल की बच्ची ने सिर्फ़ सात साल और 270 दिन की उम्र में सबसे कम उम्र की ताइक्वांडो प्रशिक्षक बनकर इतिहास रच दिया है! संयुक्ता नारायणन भारत के मदुरै में रहने वाले दूसरे बच्चों के लिए प्रेरणास्रोत हैं, जो उन्हें खेलों में भाग लेने के लिए प्रोत्साहित करती हैं!"
GWR के एक ब्लॉग के अनुसार, मदुरै ताइक्वांडो अकादमी चलाने वाले उनके माता-पिता श्रुति और नारायणन भी गिनीज वर्ल्ड रिकॉर्ड धारक हैं.
माता-पिता हैं प्रेरणा
GWR से बात करते हुए, सात वर्षीय बच्ची ने कहा, "मेरे माता-पिता मेरी सबसे बड़ी प्रेरणा हैं. मैं अपने घर की दीवारों पर लगे [उनके] गिनीज वर्ल्ड रिकॉर्ड्स सर्टिफिकेट्स की प्रशंसा करती थी." उन्होंने आगे कहा, "GWR खिताब हासिल करना और उसी दीवार पर अपना सर्टिफिकेट लटकाना मेरा लक्ष्य था."
GWR ब्लॉग के अनुसार, वह हर दिन दो घंटे ट्रेनिंग करती हैं. वह सुबह जल्दी उठती हैं और अन्य छात्रों के साथ अपनी ट्रेनिंग शुरू करती हैं. स्कूल से घर आते ही वह अपना होमवर्क करती हैं. फिर थोड़ा आराम करती हैं और शाम को अपने पिता के साथ कोचिंग के लिए डोजो जाती हैं. उन्हें अपनी उम्र के बच्चों के सामने ट्रेनर के रूप में खड़े होने पर गर्व महसूस होता है. वह कहती हैं कि वह दूसरे बच्चों से सीखती भी हैं.
संयुक्ता कहती हैं, "जब मैंने अपना GWR खिताब हासिल किया, तो मुझे अपने दोस्तों, परिवार और शिक्षकों से सराहना मिली. मेरी तस्वीरें अख़बार में प्रकाशित हुए और वीडियो टेलीविज़न पर दिखाए गए." सबसे कम उम्र की प्रशिक्षक बनकर उन्हें अपने शहर में एक स्टार की तरह महसूस हुआ.