बलूचिस्तान में चीन की महत्वाकांक्षी सीपैक परियोजना गंभीर संकट में है. बलूच लिबरेशन आर्मी (बीएलए) ने चीनी नागरिकों को क्षेत्र में देखे जाने पर गोली मारने की धमकी दी है. चीन ने पाकिस्तान से ग्वादर पोर्ट की सुरक्षा के लिए अपनी सेना भेजने की इच्छा जताई है. तहरीक-ए-तालिबान पाकिस्तान और बीएलए के विरोध के कारण चीन की अरबों डॉलर की परियोजना खतरे में है. क्या चीन अपना निवेश बचा पाएगा और सीपैक को पूरा कर पाएगा? ग्वादर पोर्ट का सपना साकार होगा या टूट जाएगा?