
पुखराज बृहस्पति का मुख्य रत्न है. यह बृहस्पति को मजबूत करने के लिए धारण किया जाता है. इसका प्रभाव काफी तेज होता है और लंबे समय तक बना रहता है. बिना सलाह के पुखराज कदापि धारण न करें.अन्यथा यह गंभीर बीमारियों का कारण बन सकता है.
पुखराज धारण करने के फायदे क्या क्या हैं ?
यह मन में गंभीरता पैदा करता है.
यह मोह को दूर करके वैराग्य को मजबूत करता है.
यह ज्ञान प्राप्ति और ध्यान में सहायता करता है.
यह वैवाहिक जीवन को दुरुस्त करता है.
यह अपयश और भटकाव से रक्षा करता है.
यह आकस्मिक घटनाओं से भी रक्षा करता है.
पुखराज धारण करने से किस तरह के नुक्सान हो सकते हैं ?
इससे कभी कभी जीवन में नीरसता आ जाती है.
यह व्यक्ति को अहंकारी बना सकता है.
इससे मोटापा बढ़ने की संभावना होती है.
इससे पेट गड़बड़ हो सकता है.
हाइपर एसिडिटी भी हो सकती है.
किन लोगों को पीला पुखराज धारण करना चाहिए और किनको नहीं ?
मेष, कर्क, सिंह, वृश्चिक, धनु और मीन लग्न के लोग पीला पुखराज धारण कर सकते हैं.
वृष, तुला, मकर और कुम्भ राशि के लोग पीला पुखराज बिलकुल धारण न करें.
मिथुन और कन्या लग्न के लोग विशेष दशाओं में पुखराज पहन सकते हैं.
पीले पुखराज के साथ मोती पहनना बहुत अच्छा होता है.
पुखराज के साथ गोमेद कदापि धारण न करें.