
गुजरात बोर्ड ने 10वीं-12वीं का रिजल्ट घोषित कर दिया है आपको बता दें कि दसवीं कक्षा का 83.08 प्रतिशत घोषित हुआ है. बोर्ड की वेबसाइट के माध्यम से सुबह 8 बजे गुजरात बोर्ड का परिणाम जारी हुआ. गुजरात बोर्ड दसवीं की परीक्षा 7,46,892 विद्यार्थियों ने दी थी, जिनमें से 6,20,532 विद्यार्थी उत्तीर्ण हुए है. इस साल के दसवीं बोर्ड के परिणाम की बात करें तो पिछले साल के मुकाबले 0.52 प्रतिशत परिणाम ज्यादा रहा.
राज्य में 989 केंद्र में दसवीं बोर्ड की परीक्षा का आयोजन हुआ था. इस साल दसवीं बोर्ड का कुल रिजल्ट 83.08 प्रतिशत रहा, जिसमें छात्राओं का 87.24 प्रतिशत, जबकि छात्रों का 79.56 प्रतिशत रहा है. इसका मतलब है कि बेटियां बेटों से आगे निकल रही हैं.
राज्य में सबसे अधिक परिणाम वाले केंद्र और जिले की बात करें तो महेसाणा जिले के कांसा और भावनगर जिले के भोलाद केंद्र का सबसे ज्यादा- 99.11 प्रतिशत परिणाम रहा, जबकि खेड़ा के अंबाव केंद्र का सबसे कम 29.56 प्रतिशत परिणाम रहा. जिले की बात करें तो राज्य में सबसे ज्यादा परिणाम बनासकांठा जिले का 89.29 प्रतिशत रहा, वहीं, सबसे कम परिणाम खेड़ा जिले का 72.55 प्रतिशत रहा.
रिक्शाचालक का बेटा निकला टॉपर
अहमदाबाद में रहने वाले रिक्शाचालक अल्पेश कायस्थ के बेटे जैमिन के परिणाम से हर कोई खुश है. अहमदाबाद की एचबीके स्कूल में पढ़ने वाले विद्यार्थी जैमिन ने 600 में से 586 अंक हासिल करके 99.95 परसेंटाइल और 97.67 प्रतिशत परिणाम हासिल किया है. जैमिन ने साइंस और संस्कृत में पूरे 100 अंक हासिल किए है.
जैमिन ने कहा, "दसवीं बोर्ड के लिए पूरे साल मेहनत की थी, उसका ये परिणाम है. रोजाना 7 घंटे की पढ़ाई करने के साथ पेपर लिखने की प्रैक्टिस किया करता था. अब आगे कॉमर्स की पढ़ाई करके भविष्य में सीए बनकर माता पिता का सपना पूरा करना है."
उन्होंने कहा कि उनके पिता रिक्शाचालक है और परिवार का पालन पोषण करते है. वह पिता के संघर्ष को रोज देखते हैं और सभी परिस्थितियों से वाकिफ़ हैं. इसकी वजह से मेहनत करने की और अच्छे परिणाम हासिल करने की प्रेरणा मिलती है. जैमिन के पिता अल्पेश ने कहा, "बेटे का परिणाम देखकर लग रहा है की जीवन सफल हुआ है. जैमिन आगे अब कॉमर्स लेगा और उसे जो पसंद हो उसके मुताबिक मेहनत करेंगे."
अल्पेश 20 साल से रिक्शा चलाकर दो बेटो को पढ़ा रहे हैं. मकान भी किराए का है लेकिन बेटे के रिजल्ट से खुश हैं. जैमिन की माता दीपिका गृहिणी है. दीपिका बेन कहती हैं कि उन्हें बेटे के परिणाम से बहुत ख़ुशी मिली है. बेटा कॉमर्स लेकर सीए या सीएस, जो चाहे उसकी पढ़ाई करें, माता-पिता के तौर पर वे हर संभव मदद करेंगे.