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Age is Just a Number...80 की उम्र में कर रही घोड़े की सवारी तो कोई 78 में सीख रही स्कूटी चलाना

 पिछले दिनों मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने ट्विटर पर एक वीडियो शेयर किया था जिसमें 95 वर्ष की महिला रेशम बाई कार चला रही थी. इस वीडियो को देख देवास के एक वृद्धाश्रम में रहने वाली दो बुजुर्ग महिलाओं ने घुड़सवारी और स्कूटी चलाने की इच्छा जताई. अब दोनों अपने सपनों को जी रही हैं.

80 की उम्र में घुड़सवारी करती देवकी बाई. 80 की उम्र में घुड़सवारी करती देवकी बाई.
हाइलाइट्स
  • 78 की उम्र में स्कूटी चलाना सीख रही हैं शकुंतला गोस्वामी

  • 95 की उम्र में कार चलाने वाली ड्राइवर को देख मिली प्रेरणा

वो अंग्रेजी में एक कहावत है न Age is Just a Number, मतलब उम्र तो सिर्फ एक संख्या है. जब सीखने की ललक हो और आसमान छूने का सपना हो तो उम्र कभी बाधा नहीं बनती. कुछ ऐसा ही कर रही हैं मध्य प्रदेश के देवास के एक वृद्धाश्रम में रहने वाली देवकी बाई और शकुंतला गोस्वामी.

ड्राइवर दादी को देख मिली प्रेरणा
दरअसल, पिछले दिनों मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने ट्विटर पर एक वीडियो शेयर किया था जिसमें 95 वर्ष की महिला रेशम बाई कार चला रही थी. शिवराज ने वीडियो शेयर कर दूसरों को उनसे प्रेरणा लेने की बात कही और उनकी खूब तारीफ की. इसके बाद वृद्धाश्रम में रह रही बुजुर्ग महिलाओं ने प्रबंधन से घुड़सवारी और स्कूटी चलाने की 
इच्छा जताई. प्रबंधन ने उनके लिए यह व्यवस्था कर दी तो उनकी खुशी का ठिकाना नहीं रहा.

घोड़ा देखते ही खुशी से झूम उठीं दादी
घुड़सवारी करने वाली देवकी ने वृद्धाश्रम बसेरा के प्रबंधक दिनेश चौधरी से कहा था कि उन्हें उम्र के इस पड़ाव पर घुड़सवारी की इच्छा हो रही है. वह बचपन में घुड़सवारी करती थीं. इसके बाद प्रबंधक ने तालाब के पास ही घोड़े के साथ घुड़सवार को बुलाया. घोड़ा देखते ही दादी की खुशी से झूम उठीं. दादी ने घोड़े की लगाम अपने हाथों में ली और फिर खूब घोड़ा दौड़ाया.

78 की उम्र में स्कूटी चलाना सीख रही हैं शकुंतला गोस्वामी
95 साल की ड्राइवर दादी को देख यहां रहने वाली 78 साल की शकुंतला गोस्वामी ने भी प्रबंधन से स्कूटी चलाने की इच्छा जताई. प्रबंधन ने दादी के लिए स्कूटी का इंतजाम किया. अब वह स्कूटी सीख रही हैं. वृद्धाश्रम में रहने वाले बुजुर्ग के बच्चों ने उन्हें उम्र की इस पर पड़ाव पर बेसहारा छोड़ दिया है. लेकिन, उम्र के इस पड़ाव पर जिस तरह बुजुर्ग महिलाएं अपने सपनों को जी रही हैं, वह दूसरों के लिए किसी मिसाल से कम नहीं है.