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Fake News फैलाने वाले हो जाएं सावधान ! इनसे निपटने के लिए एक्शन मोड में मेटा, गूगल और ट्विटर

यूरोपीय यूनियन के अपडेटेड कोड ऑफ प्रैक्टिस के तहत फेक न्यूज और फेक अकाउंट बनाने वालों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी. इसके लिए कंपनी को छह महीने का वक्त दिया गया है.

Fake News के खिलाफ होगी कड़ी कार्रवाई Fake News के खिलाफ होगी कड़ी कार्रवाई
हाइलाइट्स
  • Fake News के खिलाफ कड़ी कार्रवाई करेंगे सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म

सोशल मीडिया पर फैलने वाली फेक न्यूज को लेकर केंद्र सरकार हमेशा से ही ट्विटर, गूगल और फेसबुक की आलोचना कर चुकी है. लंबे समय से केंद्र का मानना था कि इन कंपनियों ने अपने प्लेटफॉर्म पर फेक न्यूज न फैले इसके लिए अभी तक कोई सख्त कदम नहीं उठाया है लेकिन, अब मेटा, गूगल, ट्विटर और माइक्रोसॉफ्ट इसे लेकर काफी गंभीर नजर आ रहे हैं. 

यूरोपीय यूनियन के अपडेटेड कोड ऑफ प्रैक्टिस के तहत फेक न्यूज और फेक अकाउंट फैलाने वालों खिलाफ सख्त कदम उठाने पर सहमति जताई है. इसके तहत ऐसे लोगों को भारी जुर्माना भी देना पड़ सकता है. यूरोपीय आयोग ने कहा कि एडवरटाइजिंग बॉडी सहित 30 से ज्यादा हस्ताक्षरकर्ताओं ने अपडेट कोड ऑफ कंडक्ट पर साइन किए हैं. 

कंपनियों के पास छह महीने का वक्त  

यूरोपीय यूनियन के कार्यकारी ने पिछले हफ्ते रॉयटर्स की रिपोर्ट की पुष्टि करते हुए कहा कि हस्ताक्षरकर्ता डीप फेक न्यूज, फर्जी अकाउंट और पॉलिटिकल एडवरटाइजमेंट से निपटने के लिए कड़ी कार्रवाई की जाएगी. इसके साथ ही गैर-अनुपालन से कंपनी के वैश्विक कारोबार का 6 प्रतिशत तक जुर्माना हो सकता है. कंपनियों को इसके लिए 2023 तक का समय दिया गया है.  

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