
दिल्ली एनसीआर में सुबह के ट्रैफिक जाम को पार करके ऑफिस पहुंचना अपने आप में एक जंग है. लोगों का बहुत जायादग समय सिर्फ ट्रेवलिंग में निकल जाता है. लेकिन प्रोफेशनल्स की इस मुश्किल को आसान करने के लिए NCRTC (National Capital Region Transport Corporation) ने गाजियाबाद नमो भारत स्टेशन पर अत्याधुनिक को-वर्किंग स्पेस बना दिया है. यह नया स्मार्ट वर्कस्पेस खासतौर पर उन प्रोफेशनल्स, फ्रीलांसर्स और स्टार्टअप्स के लिए बनाया गया है जो सुविधाजनक जगहों पर आरामदायक और तकनीकी रूप से उन्नत वर्कस्पेस की तलाश में रहते हैं.
स्टेशन के कॉन्कोर्स लेवल पर बनाया गया है. इस को-वर्किंग स्पेस में 42 ओपन वर्कस्टेशन्स, 11 प्राइवेट केबिन और 2 पूरी तरह से सुसज्जित मीटिंग रूम हैं. यह अलग-अलग कार्यशैलियों की जरूरतों को पूरा करता है. हाई-स्पीड इंटरनेट, 24x7 एक्सेस, प्लग-एंड-प्ले डेस्क, बायोमेट्रिक सुरक्षा, IoT आधारित लाइटिंग एवं क्लाइमेट कंट्रोल जैसे स्मार्ट फीचर्स इसे मोबाइल वर्कफोर्स के लिए आइडियल बनाते हैं.
वर्क फ्रॉम होम वालों के लिए अच्छा विकल्प
गाजियाबाद नमो भारत स्टेशन मेरठ तिराहा मोड़ के पास होने के कारण रोजाना इस स्टेशन पर यात्रियों का बड़ी संख्या में आना जाना होता है. ऐसे में, यह को-वर्किंग स्पेस उन लोगों के लिए बेहद उपयोगी है जिनका कोई स्थाई ऑफिस नहीं है या जो रिमोटली काम करते हैं. इसके अलावा यहां क्यूआर आधारित कैशलेस सर्विस और डिजिटल मीटिंग टूल्स भी उपलब्ध हैं, जो कार्यक्षमता बढ़ाते हैं.
एनसीआरटीसी ने यात्रियों के अनुभव को बेहतर बनाने के लिए गाजियाबाद प्रीमियम लाउंज में एक रिफ्रेशमेंट ज़ोन भी शुरू किया है, जहां यात्रियों के आरामदायक बैठने की व्यवस्था और उनके खाने पीने की सुविधा भी देती है. नमो भारत ट्रेन के प्रीमियम क्लास में यात्रा करने के लिए स्टैंडर्ड किराए से 20% ज्यादा किराया देना होता है, जिससे ज्यादा आराम और सुविधाएं उपलब्ध होती हैं. नमो भारत ट्रेनें फिलहाल 55 किलोमीटर के मार्ग पर 11 स्टेशनों को जोड़ती हैं, जबकि 82 किलोमीटर के पूरे नेटवर्क को इस साल चालू करने का लक्ष्य रखा गया है.