होली के गीत सुनाते लोगों की टोलियां सड़कों पर निकलने लगी हैं और कुछ इस अंदाज में रंगों के त्योहार होली की शुरुआत हो चुकी है. असम की सांस्कृतिक राजधानी जोरहाट में इन दिनों फाल्गुन की मस्ती का रंग चढ़ने लगा है. लेकिन जोरहट में होली की मस्ती के बीच खत्म हो चुकी विरासत को भी संजोने की कोशिश जारी है. किसी जमाने में बसंत पंचमी से रंग पंचमी तक बजने वाले चंग की थाप अब सिमटकर रह गई है. ऐसे में उस परंपरा को जिंदा रखने के लिए लोकगीतों की धुन अब तेज हो गई है.
In Jorhat, the cultural capital of Assam, these days the color of Falgun's fun has started rising. But amidst the fun of Holi in Jorhat, efforts are on to preserve the lost heritage.