
गुजरात के बनासकांठा में बनास डेयरी, वन विभाग और स्वयंसेवकों के सहयोग से जिले में 'अरावली ग्रीन वॉल' बना रही है. इस नेक उद्देश्य से गब्बर-अंबाजी में इस अभियान की शुरुआत की गई है. पूरे जुलाई माह के दौरान बनास डेयरी अरावली पर्वत पर एक करोड़ से ज्यादा सीड बॉल लगाएगी. विधानसभा अध्यक्ष शंकरभाई चौधरी ने जगत जननी मां अंबा के दर्शन किए और राज्य और क्षेत्र की खुशहाली के लिए प्रार्थना की. चौधरी ने यहां से "सीड बॉल फॉर ग्रीन वॉल" अभियान का शुभारंभ किया. ड्रोन के माध्यम से और पहाड़ों में पैदल चलकर सीडबॉल रोपे गए.
गब्बर-अंबाजी में आयोजित कार्यक्रम में जिले से बड़ी संख्या में नागरिक उपस्थित थे, जिन्होंने गब्बर के पीछे पहाड़ी क्षेत्र में सीडबॉल रोपे. इस कार्यक्रम में वाव विधायक स्वरूपजी ठाकोर, जिला वन संरक्षक चिराग अमीन, बनास डेयरी निदेशक मंडल, बनास बैंक के चेयरमैन, बनास मेडिकल कॉलेज के चेयरमैन सहित सहकारी नेता और वन विभाग के अधिकारी उपस्थित थे. बड़ी संख्या में लोगों ने पहाड़ों पर अलग-अलग जगहों पर सीडबॉल रोपे.
इन पहाड़ों में बारिश के रूप में गिरने वाला पानी बनास, सरस्वती तथा साबरमती नदियों को जीवित करता है. बनासकांठा की हजारों पशुपालक बहनों ने सीडबॉल बनाए हैं, जिनमें बनास डेयरी ने विभिन्न पेड़ों के बीज उपलब्ध कराए. विधानसभा अध्यक्ष ने नागरिकों से प्रकृति की रक्षा के लिए ज्यादा से ज्यादा पेड़ लगाने की अपील की.
सीड बॉल को मिट्टी, गाय के गोबर की खाद और बीजों से बनाया जाता है. मिट्टी खाद के मिश्रण में बीच में बीज भरे जाते हैं और छोटे-छोटे बॉल तैयार किए जाते हैं. इन बॉल्स को कहीं भी जंगल में गड्ढा खोदकर जमीन में दबा दिया जाता है. यह काम बारिश के मौसम में करते हैं ताकि बीज अंकुरित होकर पेड़ बनें और हरियाली बढ़े.
(शक्तिसिंह परमार की रिपोर्ट)