बद्रीनाथ धाम के कपाट छह महीने बाद खुल गए हैं और आज पूरे दिन रात लगभग दस बजे तक मंदिर भक्तों के लिए खुला रहेगा. छह महीने बाद कपाट खुलने पर भी मंदिर की अखंड ज्योत जलती हुई मिली, जिसके बारे में कहा जाता है कि छह महीने देवता और छह महीने मनुष्य यहां पूजा करते हैं. मंदिर में भगवान विष्णु के साथ लक्ष्मी जी के न होने और केरल के नम्बूदरी ब्राह्मणों द्वारा ही पूजा किए जाने की परंपरा आदिगुरु शंकराचार्य ने स्थापित की थी.