महाशिवरात्रि का दिन केवल पूजा-प्रार्थना का नहीं, बल्कि आत्मसात करने और स्वयं को ईश्वर से जोड़ने का दिन है. इस दिन रात्रि पूजन का विशेष महत्व है. शास्त्रों के अनुसार, रात्रि में शुद्ध मन से आसन पर बैठकर गुरु, गणेश जी और माँ गौरी का ध्यान कर भगवान शिव का पूजन करने से सिद्धियां प्राप्त होती हैं. श्रावण मास की शिवरात्रि का भी विशेष महत्व है. भगवान शिव का अभिषेक विभिन्न कामनाओं की पूर्ति के लिए किया जाता है. पुत्र प्राप्ति की कामना के लिए गाय के शुद्ध दूध से अभिषेक करने का विधान है. धन-संपदा की वृद्धि के लिए गन्ने के रस से अभिषेक करने से लक्ष्मी का अखंड भंडार भरा रहता है.