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World's first AI Santa Robot: दुनिया का पहला AI-सांता रोबोट लॉन्च, बच्चों को पढ़ाएगा साथ ही एंटरटेनमेंट भी करेगा

हैसांता रोबोट सिर्फ दिखने में ही नहीं, बल्कि काम में भी बेहद स्मार्ट है. यह बच्चों से बात कर सकता है, उन्हें कहानियां सुना सकता है और कई मजेदार एक्टिविटी भी करा सकता है.

AI Santa Robot AI Santa Robot
हाइलाइट्स
  • इमोशन दिखाने वाली आंखें इसकी सबसे बड़ी खूबी

  • ब्लॉक प्रोग्रामिंग से बच्चे खुद बनाएंगे अपने टास्क

हांगकांग की रोबोटिक्स कंपनी मंगडांग टेक्नोलॉजी (MangDang Technology) ने दुनिया का पहला AI-सांता रोबोट लॉन्च किया है. इसका नाम हेसांता रखा गया है. यह रोबोट खास तौर पर बच्चों के लिए डिजाइन किया गया है, ताकि वे इसके साथ सीख भी सकें और मजे भी कर सकें. ये सेंटा बच्चों से बात कर सकता है, उनके सवालों का जवाब दे सकता है और उन्हें कहानियां भी सुना सकता है.

मंगडांग टेक्नोलॉजी ने इस रोबोट को Kickstarter प्लेटफॉर्म पर लॉन्च किया था. लॉन्च के कुछ ही दिनों में इसे काफी लोगों का सपोर्ट मिल चुका है. कंपनी अब इसका मास प्रोडक्शन शुरू करने की तैयारी में है और इसकी शिपिंग नवंबर 2025 से शुरू होगी.

दो वर्जन में उपलब्ध है ये सेंटा
ये सेंटा दो वर्जन में उपलब्ध होगा. पहला HeySanta और दूसरा HeySanta Pro. बेसिक HeySanta में वॉइस चैट, वॉइस कंट्रोल और मूवमेंट की सुविधा है, जबकि HeySanta Pro में इसके अलावा आंखों के इमोशन और इंटरप्टिबल चैट की एडवांस फीचर जोड़े गए हैं.

हेसांता की सबसे खास बात है इसका जनरेटिव AI सिस्टम. यह जितना ज्यादा बच्चों से बात करेगा, उतना ज्यादा उन्हें समझेगा. इसमें लॉन्ग-टर्म मेमोरी है यानी कि ये पिछली बातों को याद रख सकता है और अगली बार उसी हिसाब से रिएक्शन दे सकता है. बच्चे इस सेंटा से सवाल भी पूछ सकते हैं, कहानी सुनाने को कह सकते हैं या गाना सुनने की रिक्वेस्ट भी कर सकते हैं.

इमोशन दिखाने वाली आंखें इसकी सबसे बड़ी खूबी
हेसांता की आंखें इसे और भी खास बनाती हैं. इसकी डिजिटल आंखें अलग-अलग इमोशन और इमोजी दिखा सकती हैं. उदाहरण के तौर पर जब यह अलार्म की तरह काम करता है तो आंखों में अलार्म बेल का निशान आता है, ताकि बच्चे समय पर उठ सकें.

USB और बैटरी दोनों से चलेगा
हेसांता का वजन लगभग 0.5 किलो (1.1 पाउंड) है और यह 12.8 इंच ऊंचा है. इसे USB Type-C केबल या AA बैटरियों से चलाया जा सकता है. इस तरह यह पोर्टेबल भी है और बच्चे इसे कहीं भी अपने साथ रख सकते हैं.

ब्लॉक प्रोग्रामिंग से बच्चे खुद बनाएंगे अपने टास्क
हेसांता में एक और दिलचस्प फीचर है ब्लॉक प्रोग्रामिंग सिस्टम. इसके जरिए बच्चे खुद तय कर सकते हैं कि रोबोट क्या करे. वे इसे गाना गाने, कहानी सुनाने या कोई एक्टिविटी करने का कमांड दे सकते हैं. यह बच्चों को कोडिंग और प्रोग्रामिंग की शुरुआती समझ देने में मदद करेगा.