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'Dead Economy' कहने वाले अमेरिकी राष्ट्रपति Donald Trump का भारत में क्या है बिजनेस मॉडल, हजारों करोड़ की कर रहे हैं कमाई

2024 में ही ट्रंप ने भारत से 12 मिलियन डॉलर (लगभग 100 करोड़ रुपये) कमाए, जिसमें अकेले मुंबई की एक टॉवर डील से 10 मिलियन डॉलर की कमाई हुई.

Donald Trump Donald Trump

डोनाल्ड ट्रंप भारत के रियल एस्टेट बाजार से करोड़ों कमा रहे हैं. जी हां, और इसके लिए न उन्होंने कोई ज़मीन खरीदी, न इमारत बनाई, और न ही एक रुपया निवेश किया. Trump Organization को सिर्फ अपने नाम का लाइसेंस भारतीय डेवलपर्स को देने के लिए भारी-भरकम फीस मिल रही है.

2024 में ही ट्रंप ने भारत से 12 मिलियन डॉलर (लगभग 100 करोड़ रुपये) कमाए, जिसमें अकेले मुंबई की एक टॉवर डील से 10 मिलियन डॉलर की कमाई हुई. और इसके बावजूद ट्रंप का कहना है कि भारत एक 'डैड इकोनॉमी' है. 

जीरो इंवेस्टमेंट, भारी मुनाफा
Indian Express की एक रिपोर्ट के अनुसार, ट्रंप संगठन ने भारत में एक ऐसा बिजनेस मॉडल अपनाया है जिसमें निवेश जीरो है और मुनाफा बहुत ज्यादा. वे न तो ज़मीन खरीदते हैं, न ही निर्माण कार्य करते हैं और न ही फाइनेंसिंग में हिस्सा लेते हैं. वे सिर्फ “Trump” नाम का लाइसेंस देते हैं, जिसके बदले में उन्हें पहले ही ब्रांडिंग और डेवलपमेंट फीस मिल जाती है. बाद में, प्रोजेक्ट की कुल बिक्री का 3–5% हिस्सा भी उन्हें मिलता है.

भारत: सबसे फायदेमंद विदेशी मार्केट
2012 से 2019 के बीच ट्रंप ऑर्गनाइज़ेशन ने पुणे, मुंबई, गुरुग्राम और कोलकाता में चार प्रोजेक्ट्स से 11.3 मिलियन डॉलर की कमाई की. 2024 तक, यह आंकड़ा और बढ़ गया. ट्रंप के फाइनेंशियल डॉक्यूमेंट्स के हिसाब से, सिर्फ 2024 में भारत से 12 मिलियन डॉलर की नई कमाई हुई, जिसमें से 10 मिलियन अकेले मुंबई प्रोजेक्ट से आए, और बाकी 2.2 मिलियन डॉलर अन्य लाइसेंस व रॉयल्टी फीस से.

भारत को “नकारने” के बावजूद बढ़ता ट्रंप ब्रांड
ट्रंप भले ही सार्वजनिक रूप से भारत की अर्थव्यवस्था को महत्वहीन बताते रहे हों, लेकिन उनके ब्रांड की मौजूदगी अब भारत के 6 शहरों- मुंबई, पुणे, गुरुग्राम, कोलकाता, हैदराबाद, नोएडा और बेंगलुरु में 13 प्रोजेक्ट्स तक पहुंच गई है. साल 2023 तक ट्रंप ब्रांड का क्षेत्रफल लगभग 30 लाख वर्ग फीट था. लेकिन सभी प्रोजेक्ट्स पूरा होने पर यह बढ़कर 1.1 करोड़ वर्ग फीट तक पहुंचने की उम्मीद है. 

2024 में ट्रंप की जीत के बाद तेज़ हुई रफ्तार
ट्रंप के नवंबर 2024 में फिर से अमेरिकी राष्ट्रपति बनने के बाद, उनके संगठन ने भारत में विस्तार को तेज़ कर दिया. ट्रंप ऑर्गनाइज़ेशन और Tribeca Developers ने मिलकर 8 मिलियन वर्ग फीट के 6 नए प्रोजेक्ट्स की घोषणा की.

इनमें से तीन पुणे, गुरुग्राम और हैदराबाद में लॉन्च हो चुके हैं और ये कुल 4.3 मिलियन वर्ग फीट के लग्ज़री प्रोजेक्ट हैं. रिपोर्ट का अनुमान है कि ये प्रोजेक्ट्स करीब 15,000 करोड़ रुपये (लगभग 1.8 बिलियन डॉलर) की संभावित बिक्री पैदा कर सकते हैं. 

ट्रंप मॉडल कैसे काम करता है:

  • Trump Organization भारतीय डेवलपर्स को अपने ब्रांड का लाइसेंस देती है, इसके बदले में उन्हें एडवांस फीस मिलती है.
  • भारतीय डेवलपर ज़मीन खरीदते हैं और प्रोजेक्ट फंड करते हैं.
  • भारतीय निर्माण कंपनियां बिल्डिंग बनाती हैं.
  • डेवलपर Trump ब्रांड के नाम पर फ्लैट/ऑफिस प्रीमियम रेट पर बेचते हैं.
  • ट्रंप ऑर्गनाइज़ेशन को बिक्री का 3–5% हिस्सा रॉयल्टी के रूप में मिलता है.
  • अगर प्रोजेक्ट में देरी हो, बिक्री न हो या प्रोजेक्ट अधूरा रह जाए, तो डेवलपर को नुकसान होता है, ट्रंप को नहीं- उनकी फीस पहले से तय होती है. 

ट्रंप की गारंटी वाली कमाई
इस मॉडल में ट्रंप को न ज़मीन की रिस्क है, न निर्माण की, न फंड की, और न ही किसी कानूनी या प्रशासनिक अड़चनों की. उनकी कमाई सिर्फ उनके नाम से होती है, भले ही प्रोजेक्ट पूरा हो या नहीं. इस मॉडल को लागू करने के लिए, अक्टूबर से नवंबर 2024 के बीच भारत में ट्रंप से जुड़ी पांच नई एलएलसी (Trump LLCs) रजिस्टर की गईं,

हालांकि, ट्रंप 2017 से अपने बिजनेस से हट चुके हैं, लेकिन उनकी बहुमत हिस्सेदारी आज भी बनी हुई है. उनके बेटे एरिक ट्रंप और डोनाल्ड ट्रंप जूनियर अब संगठन चला रहे हैं. जैसा कि ट्रंप जूनियर ने कहा था कि भारत हमारी संस्था के लिए सबसे बड़ा फोकस है.

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