गुजरात का सूरत शहर यूं तो अपने डायमंड और टेक्सटाइल के कारोबार के लिए देश और दुनिया में जाना जाता है लेकिन धीरे-धीरे पिछले कुछ समय से सूरत शहर अंगदान के मामले में भी अपनी एक नई पहचान बनाता जा रहा है. सूरत शहर में लोगों को अंगदान के प्रति जागृत करने के लिए कई संस्थाएं काम कर रही हैं. इनमें से एक है डोनेट लाइफ संस्था. सूरत शहर में ऑर्गन डोनेशन के प्रति जनजागृति का अभियान चलाने वाली एक अन्य संस्था के सहयोग से शहर के मोटा वराछा इलाके में रहने वाले एक ब्रेन डेड व्यक्ति के परिवार वालों ने अंगदान किया. इससे पांच अन्य जरूरतमंद लोगों को नया जीवनदान मिला है.
कढ़ाई का बिजनेस करते थे रितेश
सूरत शहर की मोटा वराछा इलाके में स्थित यमुना दर्शन सोसायटी में रहने वाले रितेश भाई नरसी भाई नावडिया शहर के अंजना फार्म इलाके में एंब्रॉयडरी का बिजनेस करते थे. रितेश भाई की संतान में उनको दो पुत्री और 1 पुत्र है. बीती 29 तारीख को रितेश भाई ने किसी अज्ञात कारण के चलते जहर पी लिया था. परिवार के लोग इलाज के लिए रितेश को एक निजी अस्पताल ले गए लेकिन इलाज के दौरान डॉक्टरों ने उन्हें ब्रेन डेड घोषित कर दिया.
परिवार ने लिया निर्णय
ब्रेन डेड रितेश भाई के परिवार वालों ने रितेश भाई के ऑर्गन डोनेट करने के लिए जीवनदीप ऑर्गन डोनेशन फाउंडेशन नामक संस्था के प्रमुख पीयूष गोंडलिया और ट्रस्टी विपुल तलाविया से संपर्क किया था. विपुल भाई ने बताया कि ब्रेन डेड रितेश भाई की दोनों किडनी और लीवर का दान स्टेट ऑर्गन एंड टिशु ट्रांसप्लांट ऑर्गेनाइजेशन ( सोटो ) द्वारा स्वीकार किया गया है जबकि दोनों नेत्रों का दान सूरत की लोक दृष्टि चक्षु बैंक के डॉ प्रफुल सिरोया ने स्वीकार किया है. ब्रेनडेड रितेश भाई के परिवार द्वारा किए गए उनके ऑर्गन डोनेशन से पांच अलग-अलग लोगों को नया जीवनदान मिला है. विपुल भाई तलाविया ने बताया कि उनकी संस्था पिछले कुछ दिनों से लगातार ऑर्गन डोनेशन के लिए जनजागृति अभियान चला रही है. इसका असर समाज पर भी हो रहा है.
(सूरत से संजय सिंह राठौर की रिपोर्ट)