स्वदेशी मिसाइल से भारत देगा आसमानी हमलों का मुहतोड़ जवाब, VL-SRSAM का किया गया सफल परीक्षण

आपको बता दें, इसका पहला टेस्ट 22 फरवरी 2021 को किया गया था और मंगलवार को जो टेस्ट किया गया है वो कॉन्फिगरेशन, इंटीग्रेटेड ऑपरेशन और इसकी परफॉरमेंस को देखने के लिए किया गया है. शॉर्ट रेंज सरफेस-टू-एयर मिसाइल हमारी स्वदेशी मिसाइल है. इसे भारतीय नौसेना को मजबूती देने के लिए बनाया गया है. इसकी मदद से अब देश आसानी से आसमानी हमलों का सामना कर सकेंगे.

Photo: DRDO
gnttv.com
  • नई दिल्ली,
  • 07 दिसंबर 2021,
  • अपडेटेड 11:01 AM IST
  • रक्षा मंत्री ने दी बधाई
  • इसका पहला टेस्ट 22 फरवरी 2021 को किया गया था
  • भारतीय सेना को मिलेगी मजबूती

भारत ने मंगलवार को कम रेंज की जमीन से हवा में मार करने वाली मिसाइल VL-SRSAM का सफल परीक्षण किया. ये फ्लाइट टेस्ट ओडिशा के तट से किया गया. डिफेंस रिसर्च एंड डेवलपमेंट ऑर्गनाइजेशन (DRDO) के अधिकारियों ने मंगलवार को इसकी जानकारी दी. उन्होंने बताया कि भारतीय नौसेना  के युद्धपोतों के लिए एक ऐसा एयर डिफेंस सिस्टम विकसित किया जा रहा है जो लगभग 15 किलोमीटर की दूरी तक निशाना लगा सकेगा. 

रक्षा मंत्री ने दी बधाई 

रक्षा मंत्री कार्यालय ने रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह के हवाले से बधाई देते हुए लिखा, डीआरडीओ और भारतीय नेवी को वर्टिकल लॉन्च शॉर्ट रेंज सरफेस टू एयर मिसाइल के सफल उड़ान परीक्षण के लिए बधाई. यह प्रणाली हवाई खतरों के खिलाफ भारतीय नौसेना के जहाजों की रक्षा क्षमता को और बढ़ाएगी.” 

इसके साथ डिफेंस रिसर्च एंड डेवलपमेंट ऑर्गनाइजेशन के चेयरमैन डॉ जी सतीश रेड्डी ने इस सफल फ्लाइट टेस्ट में शामिल हुई टीमों की सराहना की है. उन्होंने कहा कि इससे भारतीय नौसेना के जहाजों पर हथियार प्रणाली को और बेहतर बनाया जा सकेगा.  

भारतीय सेना को मिलेगी मजबूती 

दरअसल, शॉर्ट रेंज सरफेस-टू-एयर मिसाइल हमारी स्वदेशी मिसाइल है. इसे भारतीय नौसेना को मजबूती देने के लिए बनाया गया है. इसकी मदद से अब देश आसानी से आसमानी हमलों का सामना कर सकेंगे. आपको बता दें, इसका पहला टेस्ट 22 फरवरी 2021 को किया गया था और मंगलवार को जो टेस्ट किया गया है वो कॉन्फिगरेशन, इंटीग्रेटेड ऑपरेशन और इसकी परफॉरमेंस को देखने के लिए किया गया है.

ये भी पढ़ें

 

Read more!

RECOMMENDED