Representative Image
Representative Image वैसे तो कोरोना काल में स्कूल-कॉलेज के छात्रों की पढ़ाई पर काफी ज्यादा प्रभाव पड़ा है. लेकिन फिर भी इस साल शिक्षा के क्षेत्र में भारत एक उपलब्धि हासिल करने में सफल रहा है. और यह उपलब्धि खास इसलिए है क्योंकि इसमें भारत ने चीन को पीछे छोड़ा है.
दरअसल, इस साल भारतीयों ने बहुत ज्यादा संख्या में फुल-टाइम एमबीए प्रोग्राम के लिए अंतरराष्ट्रीय बिजनेस स्कूलों में अप्लाई किया है. पिछले साल तक इंटरनेशनल बिज़नेस स्कूलों में सबसे ज्यादा आवेदन करने वाले छात्र चीन के हुआ करते थे. लेकिन इस साल सबसे ज्यादा भारतीय छात्रों ने आवेदन किए हैं.
इस साल हुई एप्लीकेशन में बढ़ोतरी:
पिछले साल के मुक़ाबले इस साल इंटरनेशनल बिज़नेस स्कूलों में अप्लाई करने वाले छात्रों की संख्या में बहुत ज्यादा बढ़ोतरी हुई है. वहीं, पिछले साल के मुक़ाबले चीन के छात्रों की संख्या काफी ज्यादा घटी है. चाहे प्रोग्राम फुल-टाइम हो या एग्जीक्यूटिव, ऑनलाइन, पार्ट-टाइम या किसी भी तरह के मोड में हो, सभी के लिए सबसे ज्यादा एप्लीकेशन भारत से ही गए हैं.
ग्रेजुएट बिज़नेस स्कूलों की ग्लोबल एसोसिएशन, ग्रेजुएट मैनेजमेंट एडमिशन काउंसिल ने बुधवार को एप्लीकेशन ट्रेंड्स सर्वे 2021 को जारी किया है. जिसमें यह पता चला कि इस बार सबसे ज्यादा भारतीयों ने इंटरनेशनल बिज़नेस स्कूलों में कोर्स के लिए अप्लाई किया है.
लगभग 1000 एमबीए और बिज़नेस मास्टर्स प्रोग्राम के इस सर्वे में बताया गया है कि 2021 में ग्रेजुएट स्कूल प्रोग्राम्स के लिए एप्लीकेशन पिछले साल के मुकाबले 0.4% बढ़े हैं.