Nagastra Kamikaze Drone
Nagastra Kamikaze Drone भारतीय सेना सोलर डिफेंस एंड एयरोस्पेस लिमिटेड को 450 नागास्त्र-1आर ड्रोन बनाने का ऑर्डर दिया है. आधुनिक तकनीक से लैस नगास्त्र सुसाइडल ड्रोन की ताकत और नजरों से बच पाना दुश्मन के लिए आसान नहीं होगा. यह 'सुसाइडल' ड्रोन खुद को खत्म कर दुश्मनों का सर्वनाश करने की क्षमता रखता है. आइए जानते हैं इस ड्रोन के स्पेसिफिकेशन और इसकी क्षमता.
क्यों कहलाता है सुसाइडल ड्रोन?
महाभारत में कर्ण ने अर्जुन को मारने के लिए नागास्त्र का इस्तेमाल किया था. यह अस्त्र इतना ज़हरीला था कि अगर श्रीकृष्ण अर्जुन को न बचाते तो एक ही वार में अर्जुन की मृत्यु भी हो सकती थी. भारत का नया नागास्त्र ड्रोन भी इतना ही खतरनाक है और एक ही वार में दुश्मन को तबाह कर सकता है. जैसा कि इसके नाम से साफ है, यह 'सुसाइडल' ड्रोन अपने टारगेट पर लगने के बाद खुद भी बर्बाद हो जाता है और टारगेट को भी बर्बाद कर देता है.
नागास्त्र ड्रोन को युद्ध क्षेत्र में आसानी से असेम्ब्ल किया जा सकता है. इसे ग्राउंड बेस्ड लॉन्चर सिस्टम या हाथ से लॉन्च किया जा सकता है. नगास्त्र-1 ड्रोन का वजन करीब 10 किलो है जो आसानी से 60 मिनट यानी एक घंटे तक उड़ान भरने में सक्षम है.
नागास्त्र एक फिक्स्ड विंग्स ड्रोन है जिसके मिड सेक्शन में विस्फोटक रखकर दुश्मन के अड्डे पर हमला बोला जा सकता है. इसके वेरिएंट्स को ट्राइपॉड या हाथों से उड़ाया जा सकता है. कमाल की बात यह है कि अगर टारगेट ना मिले तो यह ड्रोन वापस आ जाएगा.
क्या हैं इसकी स्पेसिफिकेशन?
नागास्त्र भले ही सुसाइड ड्रोन है लेकिन इसका लॉन्चर सिस्टम दोबारा इस्तेमाल किया जा सकता है. इस ड्रोन में एक 360 डिग्री गिम्बल कैमरा मौजूद है. रात में ड्रोन के इस्तेमाल के लिए इसमें थर्मल कैमरा का विकल्प भी है. वीडियो और टेलीमेट्री संचार दोनों के लिए एन्क्रिप्शन है और ड्रोन की सटीकता दो मीटर तक है. यह ड्रोन इसलिए भी खास है क्योंकि इसमें 80% से ज्यादा स्वदेशी सामग्री लगी है.
यानी सेना के लिए देश की जमीन पर आस्मा के स्वदेशी धुरंधरों की जबरदस्त फौज तैयार हो रही है. वह फौज जो देश की सरहदों पर सुरक्षा का ऐसा चक्रव्यूह तैयार करेगी जिसे तोड़ पाना भारत के शत्रुओं के लिए असंभव होगा. नए भारत की इस नई ताकत का नजारा हाल ही में ऑपरेशन सिंदूर के दौरान सारी दुनिया ने देखा है.