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Royal Enfield Traffic Rider: पहाड़ों की बुलेट रानी! ट्रैफिक कंट्रोल करने के लिए बुलेट पर सवार होकर जाम खुलवाने पहुंच जाती हैं लक्ष्मी

जाम से निपटने के लिए एक अनोखी पहल और शुरुआत की है जिसमें 34 साल की हेड कॉन्स्टेबल लक्ष्मी बुलेट पर सवार होकर कहीं भी जाम लगता है तो उसको खुलवाने में मदद करती है. वह पूरे प्रदेश में पहली बाइक राइडर है जो कि ट्रैफिक को मैनेज और कंट्रोल करने में मदद करती है.

Traffic Rider Laxmi Traffic Rider Laxmi

पहाड़ों की रानी शिमला में साल में 24 महीने ऐसा खुशनुमा मौसम रहता है ना सिर्फ इस देश के बल्कि विदेशों से भी सैलानी छुट्टियां मनाने शिमला आने लगते हैं. अंग्रेजों ने अपनी ग्रीष्मकालीन राजधानी को बनाया है इस ढंग से था.पहाड़ी पर बसा शहर शिमला उस समय के लिहाज से तो एकदम परफेक्ट था लेकिन बदलते वक्त के साथ शहर फैल गया और सड़के सिकुड़ गई. शहर में सड़कों के दोनों किनारों पर या तो बिल्डिंग या घर है या फिर ऊंची ढलान जिसकी वजह से सड़कों को चौड़ा करना भी एक बड़ी चुनौती है. वहीं सैलानियों की संख्या में हर साल वृद्धि देखी जा रही है. उसके अलावा शिमला शहर में खुद स्थानीय लोगों की आबादी में भी कई गुना बढ़ोतरी हुई है जिसकी वजह से शिमला पहुंचने के तीनों रोड पर भयंकर जाम लगा रहता है. चाहे वह चंडीगढ़ शिमला हाईवे हो या फिर मनाली बिलासपुर हाईवे हो या फिर शिमला थियोग रोड. 

बुलेट से पहुंचती हैं हर जगह
हिमाचल पुलिस ने इस जाम से निपटने के लिए एक अनोखी पहल और शुरुआत की है जिसमें 34 साल की हेड कॉन्स्टेबल लक्ष्मी बुलेट पर सवार होकर कहीं भी जाम लगता है तो उसको खुलवाने में मदद करती हैं. 34 साल की लक्ष्मी किसी फिल्म की शूटिंग नहीं बल्कि असल में नायिका की भूमिका में है क्योंकि किसी भी चौराहे चौक पर अगर जाम लगता है तो वहां पर पुलिस की गाड़ी पहुंचने में काफी समय लग जाता है और समस्या घटने के बजाय और ज्यादा बड़ी हो जाती है. इसी चीज को ध्यान में रखते हुए हिमाचल पुलिस के डीजीपी संजय कुंडू की पहल पर बाइक rider की शुरुवात की गई है.

लक्ष्मी ने जीएनटी डिजीटल से खास बातचीत में बताया कि करीबन डेढ़ महीना पहले जब कर्नाटका के डीजीपी किसी काम के सिलसिले में शिमला आए थे तो उस समय चंडीगढ़ शिमला हाईवे में चौकी के पास उन्हें पायलट देनी थी और उस समय लक्ष्मी ने अपना खुद बाइक चलाकर ट्रैफिक को कंट्रोल करते हुए उन्हें उनके गंतव्य तक पहुंचाया था. बाद में जब डीजीपी ने देखा कि यह पायलट राइडर कोई पुरुष नहीं महिला है तो वह उससे बहुत प्रभावित हुए जिसके बाद उन्होंने यह बात हिमाचल के महानिदेशक संजय कुंडू के सामने रखी.

अन्य महिलाओं के लिए प्रेरणा
लक्ष्मी बताती है कि यह उनके लिए गर्व की बात है कि वह पूरे प्रदेश में पहली बाइक राइडर है जो कि ट्रैफिक को मैनेज और कंट्रोल करने में मदद करती है. शिमला शहर के एसपी संजीव कुमार गांधी ने बताया कि यह एक गर्व की बात है कि महिला हर क्षेत्र में ना सिर्फ पुरुषों के साथ कंधे से कंधा मिलाकर चल रही है बल्कि बहुत ही जगहों पर वह पुरुषों से आगे भी निकल गई है संजीव कुमार गांधी ने बताया कि लक्ष्मी को बाइक पर ट्रैफिक मैनेज करते हुए प्रदेश की दूसरी महिलाओं के लिए भी प्रेरणा मिलेगी जो पुलिस में आना चाहती है और प्रदेश की सेवा करना चाहती हैं.