प्राचार और स्वीकार में गीतिका पंत ने मोर पंख के महत्व पर चर्चा की. मोर पंख को भगवान कृष्ण के मुकुट में स्थान मिलता है और यह सौभाग्य तथा समृद्धि का प्रतीक माना जाता है. कार्यक्रम में बताया गया कि मोर पंख घर के वास्तु दोष दूर करता है और नकारात्मक शक्तियों से मुक्ति दिलाता है. ज्योतिष के जानकार बताते हैं कि मोर पंख कुंडली में नवग्रह के दोषों को शांत करता है और दांपत्य जीवन को मंगलमय बना सकता है. मोर पंख से एकाग्रता और स्मरण शक्ति बढ़ती है. पौराणिक मान्यताओं के अनुसार, मोर पंख का जन्म भगवान विष्णु के वाहन गरुड़ के पंख से हुआ और इंद्र के वरदान से इसे चमकीले पंख मिले. कहते हैं कि मोरपंख को घर में रखने से धन का लाभ होता है और मां लक्ष्मी की कृपा बरसती है. यह राहु और केतु के दुष्प्रभाव को कम करने में सहायक है. मोर पंख को पूजा कक्ष में रखने या जेब में रखने से ग्रहों की शांति होती है.