कल गंगा दशहरा है. यह धार्मिक मान्यता है कि इस दिन ही मां गंगा स्वर्ग से धरती पर अवतरित हुई थीं. कहते हैं गंगा दशहरा के दिन गंगा नदी में स्नान करने से मोक्ष की प्राप्ति होती है और समस्त पाप धुल जाते हैं. इस दिन लोग गंगा में स्नान करते हैं और मां गंगा की विधि-विधान से पूजा अर्चना करते हैं. माना जाता है कि गंगा का जन्म भगवान् विष्णु के पैरों से हुआ था. साथ ही यह शिव जी की जटाओं में निवास करती हैं.
शक्ति स्वरूपा जगत जननी मां जगदम्बा की महिमा अपरंपार है. मां भगवती के 51 शक्तिपीठ माता रानी की चमत्कारी गाथा कहते हैं. आज हम आपको मां दुर्गा के ऐसे शक्तिपीठों का दर्शन कराएंगे जहां देवी की अखंड ज्योति 2000 साल से भी ज्यादा समय से जल रही है.
मंदिरों में देवताओं की आरती कैसे और कब की जाती है. आरती की थाली में क्या-क्या होना चाहिए. साथ ही आरती करते वक्त किन-किन सावधानियों का रखना चाहिए ख्याल.अगर आप नहीं जानते हैं तो देखिए.
कहते हैं कि अलग-अलग मंत्रों के लिए अलग मालाओं का प्रयोग करने से उपासना सफल और प्रभावी होती है. ज्योतिष के जानकारों की मानें तो हर अलग-अलग मालाएं संबंधित मंत्रों को परमशक्तिशाली बना देती हैं. ज्योतिष के जानकारों की मानें तो हर देवी-देवता की आराधना के लिए एक विशेष माला तय है जिसके प्रयोग से देवता जल्दी प्रसन्न होते हैं. माला का प्रयोग इसलिए भी किया जाता है ताकि मंत्र जाप की संख्या में गलती ना हो सके.
भागदौड़ भरी जिंदगी में हर कोई अपनी टेंशन को कम करना चाहता है. हम और आप हमेशा ये सोचते हैं कि कुछ तो ऐसा हो जाए जिससे जिंदगी तनाव मुक्त हो जाए लेकिन फिर भी कितनी भी कोशिश करने के बाद आपको कोई ना कोई टेंशन घेरे रखती है. लेकिन क्या आप जानते हैं कि आपकी टेंशन बढ़ाने के पीछे ग्रह भी हो सकते हैं. चन्द्रमा को मुख्य रूप से मन का ग्रह माना जाता है. बुध भी बहुत हद तक मन को प्रभावित करता है.
चंदन आस्था और भक्ति की पहचान है. ज्योतिष के जानकारों की मानें तो भारतीय संस्कृति में पूजा-अर्चना, संस्कार, मंगल कार्य, यात्रा और जैसे तमाम शुभ कर्मों की शुरुआत में माथे पर तिलक लगाने की परंपरा है. तिलक में सबसे ज्यादा शुभकारी और कल्याणकारी चंदन का तिलक है. चंदन एक खास तरह की सुगन्धित लकड़ी है. ये सेंटलिस कुल का पौधा है, जिसकी सुगंध बेमिसाल होती है. बिना चंदन लगाये पूजा संपन्न नहीं मानी जाती है.
संकटमोचन हनुमान ज्ञान और गुण के सागर हैं. हनुमान जी शिव जी के अंशावतार हैं और श्रीराम के अनन्य भक्त हैं. हनुमान जी शक्ति और ज्ञान के प्रतीक माने जाते हैं. इनकी उपासना से तुरंत कष्टों का नाश होता है. जीवन की हर तरह की बाधा दूर हो जाती है. हनुमान जी की विभिन्न स्तुतियों से जीवन में सफलता मिलती है और हर तरह के कष्टों का निवारण होता है. बजरंगबली को साधने के यूं तो तमाम तरह के तरीके हैं लेकिन हम आपको विशेष स्तुतियां और प्रयोग बता रहे हैं.
बहुत से लोग पशु-पक्षियों को पालते हैं और उनकी अपने परिवार की तरह देख-रेख करते हैं लेकिन कोई ये नहीं जानता कि इन पशु-पक्षियों का उनके इर्द-गिर्द होना एक अलग तरह का प्रभाव छोड़ता है. ज्योतिष में ऐसा माना जाता है कि हर पशु पक्षी का जीवन पर प्रभाव होता है. आइए जानते हैं कि क्या पशु-पक्षियों को पालने का हमारे जीवन पर कैसा असर पड़ता है.
कई बार आपने मंदिरों में लोगों को भजन-कीर्तन करते देखा होगा. लेकिन क्या आप यह जानते हैं कि भजन और कीर्तन में क्या अंतर है. चलिए आज हम आपको इस वीडिो में दोनों के बीच अंतर बता रहे हैं.
शनि को न्याय का ग्रह कहा जाता है. शनिदेव ही आपके कर्मों का परिणाम तय करते हैं. अगर आपके कर्म उत्तम है और आदतें अच्छी हैं तो शनिदेव आप पर मेहरबान हो सकते हैं. शनि शरीर की मजबूती से संबंध रखता है. किसी भी बीमारी को लंबे समय तक चलाने में इसकी बड़ी भूमिका होती है.
आज शनि जयंती है. आज शाम को अगर शनि देव की आराधना आपने पूरी मन से कर ली तो शनि देव शीघ्र प्रसन्न होंगे. शनि देव तमाम सांसारिक कष्टों से मुक्त कर देते हैं. शनि देव की जयंती ज्येष्ठ कृष्ण अमावस्या को मनाई जाती है. माना जाता है कि इसी दिन शनि देव का प्राकट्य हुआ था. इस दिन शनि संबंधी उपाय करने से विशेष लाभ होता है. इस दिन अगर उपवास रखकर संध्याकाल में उपाय किये जायें तो निश्चित लाभ होता है.