भगवान शिव निष्कल यानि निराकार हैं. उनका न कोई स्वरूप है और न ही आकार, इसीलिए वे निराकार हैं. केवल शिव ही निराकार लिंग के रूप में पूजे जाते हैं. भोलेनाथ ही एक ऐसे भगावान हैं जो शिवलिंग के रूप में इस धरती पर विद्यमान हैं. आदि और अंत न होने से लिंग को शिव का निराकार रूप माना जाता है जबकि उनके साकार रूप में भगवान शंकर मानकर पूजा जाता है. यूं तो भगवान शिव के रहस्य को समझ पाना इंसान के वश में नहीं है लेकिन वेदों, पुराणों और जानकारों ने शिव के बारे में जितना भी कुछ बताया है वो सब शिव के लिंग रूप का अद्भुत रहस्य है.
In this episode of Prarthna Ho Swikaar, we take a look at the mysteries associated with Lord Shiva.