गणेश चतुर्थी के पावन अवसर पर गणपति बप्पा के 32 स्वरूपों और 8 अवतारों के महत्व को समझें. इस विशेष विवरण में वक्रतुंड, एकदंत, महोदरा, गजानन, लंबोदर, विकट, विघ्नराज, धूम्रवर्ण और बाल गणपति जैसे विभिन्न स्वरूपों की महिमा पर प्रकाश डाला गया है. प्रत्येक स्वरूप अहंकार, घमंड और दुर्गुणों का नाश कर ज्ञान, धैर्य और सकारात्मकता प्रदान करता है. विद्यार्थियों के लिए गणपति अथर्वशीर्ष का पाठ और "ओम गण गणपतये नमः" मंत्र का जाप विशेष फलदायी है.