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बचपन में नहीं थे फुटबॉल खरीदने के पैसे, आज होती है टॉप खिलाडियों में गिनती... ऐसी है तीन बार के वर्ल्ड चैंपियन महान फुटबॉलर पेले की कहानी

फुटबॉलर पेले की हालात अब स्थिर बताई जा रही है. अल्बर्ट आइंस्टीन हॉस्पिटल की ओर से इस बात की जानकारी दी गई है. इससे पहले खबर थी कि पेले पर कीमेथैरिपी का असर नहीं हो रहा है और उनके अंगों ने काम करना बंद कर दिया है. लेकिन उनकी हालत स्थिर होने की खबर से फुटबॉल फैन्स को काफी राहत मिली है.

महान फुटबॉलर पेले महान फुटबॉलर पेले
हाइलाइट्स
  • बचपन में मोजों की बॉल बनाकर खेलते थे 

  • कर चुके हैं 1000 गोल 

दुनिया के पॉपुलर फुटबॉलर्स में से एक ब्राजील के लीजेंड पेले (Pele) सुर्खियों में हैं. इसके कारण है कि वे कुछ दिन पहले ही सांस संबंधी समस्या के चलते अस्पताल में भर्ती हुए थे, जिसके बाद दुनियाभर में उनके फैंस काफी परेशान हो गए थे. बता दें, पेले ब्राजील को तीन बार फीफा वर्ल्ड कप जिताने में अहम भूमिका निभा चुके हैं. हालांकि, पेले की बेटी ने उनके स्वास्थ्य से जुड़ा अपडेट शेयर किया है. केली अरानटेस नाससिमेंटो (Kely Arantes Nascimento) ने कहा है कि उनके पिता जल्द ही घर लौटेंगे. इतना ही नहीं, पेले के हेल्थ को लेकर अल्बर्ट आइंस्टीन हॉस्पिटल की ओर से भी अपडेट जारी किया गया है. पेले की हालत स्थिर है. 

 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 

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पिछले साल पता चला था कोलन कैंसर के बारे में 

गौरतलब है कि 82 वर्षीय आइकन पेले का कोलन ट्यूमर का इलाज चल रहा है. दिग्गज फुटबॉलर नियमित कीमोथेरेपी से गुजर रहे हैं. पिछले साल ही उन्हें कोलन कैंसर के बारे में पता चला था. बताते चलें कि एडसन अरांतेस डो नैसिमेंटो (Edson Arantes do Nascimento) या लोकप्रिय रूप से पेले के नाम से जाने जाते हैं और उनका जन्म 23 अक्टूबर, 1940 को Três Corações, ब्राजील में हुआ था. 

तीन वर्ल्ड कप चैंपियनशिप जितवाने में है हाथ 

ब्राजीलियाई फुटबॉल खिलाड़ी पेले दुनिया में सबसे अधिक भुगतान पाने वाले एथलीटों में से एक हैं. फुटबॉल खिलाड़ी ब्राजील की कई राष्ट्रीय टीमों का हिस्सा रहे हैं, जिन्होंने 1958, 1962 और 1970 में तीन वर्ल्डकप चैंपियनशिप जितवाने में मदद की थी. इतना ही नहीं बल्कि पेले को फीफा द्वारा उन्हें 'द ग्रेटेस्ट' के टाइटल से नवाजा जा चुका है. 

 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 

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बचपन में मोजों की बॉल बनाकर खेलते थे 

पेले का नाम आविष्कारक और विश्व प्रसिद्ध वैज्ञानिक थॉमस एडिसन के नाम पर रखा गया था, हालांकि उनके माता-पिता ने  Edison से I अक्षर हटा दिया था. हालांकि, साओ पाउलो में बड़े होने के दौरान पेले के माता पिता की आर्थिक स्थिति ठीक नहीं थे. उनके पिता फुटबॉल खेलते थे. पेले के पिता ने ही सबसे पहले पेले को वह सब कुछ सिखाया जो अब वे जानते हैं. रिपोर्ट के मुताबिक, घर की आर्थिक स्थिति इतनी खराब थी कि वे फुटबॉल भी नहीं खरीद सकते थे, और यही कारण था कि वे मोजों में कागज भरकर उसकी बॉल बनाकर खेलते थे. 

इतना ही नहीं पेले ने लोकल चाय की दुकानों में वेटर के रूप में भी काम किया था. अच्छा खेलने की वजह से पेले ने अपनी युवावस्था में ही इनडोर लीग में खेला था और आखिर में 15 साल की उम्र में सैंटोस एफसी द्वारा उन्हें साइन कर लिया गया. ग्राउंड पर पेले इतना बेहतरीन खेलते थे कि 16 साल की उम्र तक यह वे ब्राजील लीग में टॉप स्कोरर बन गए थे. 

 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 

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कर चुके हैं 1000 गोल 

बताते चलें कि बाद में अपने फुटबॉल करियर में, पेले ने प्रोफेशनल खेलों में 1,000 से अधिक गोल किए. 19 नवंबर 1969 को रियो डी जनेरियो के माराकाना स्टेडियम में वास्को डी गामा में पेले ने अपना 1000वां स्कोर किया. अंतर्राष्ट्रीय खेलों में पेले का स्ट्राइक रेट अब तक के बेस्ट में से एक है. 1977 में पेले ने अपना करियर पूरा किया और यूएस टाइटल की दिशा में न्यूयॉर्क कॉसमॉस का नेतृत्व करने के बाद रिटायर हो गए.