
एम्स दिल्ली के डॉ. भीमराव अंबेडकर इंस्टीट्यूट रोटरी कैंसर अस्पताल के सर्जिकल ऑन्कोलॉजी डिपार्टमेंट ने शनिवार को आधिकारिक रूप से 'द विंची' सर्जिकल सिस्टम लॉन्च किया. यह कदम कैंसर रोगियों को एडवांस इलाज की सुविधाएं दिलवाने में एक अहम कदम साबित होगा.
100 सफल सर्जरी के बाद बढ़ा भरोसा
आधिकारिक जानकारी के अनुसार, पायलट फेज के दौरान डिपार्टमेंट ने पहले ही लगभग 100 सर्जरी सफलतापूर्वक पूरी कर ली हैं. इससे यह साफ होता है कि मरीजों और डॉक्टरों का इस तकनीक पर भरोसा मजबूत हैं.
ट्रेन्ड सर्जनों की टीम
विभाग में पांच ट्रेन्ड सर्जन मौजूद हैं जो द विंची तकनीक की मदद से मुश्किल कैंसर सर्जरी कर सकते हैं. इनमें मलाशय, अन्नप्रणाली, अग्न्याशय, मूत्ररोग और स्त्रीरोग संबंधी कैंसर की जटिल सर्जरी शामिल हैं.
सभी मरीजों के लिए मुफ्त सुविधा
इस तकनीक से की जाने वाली सभी सर्जरी मरीजों को मुफ्त में उपलब्ध कराई जाएंगी. इससे समाज के हर वर्ग को समान स्वास्थ्य सेवाएं मिल सकेंगी. इस प्रणाली से मरीजों को कम जटिलताओं, तेज़ रिकवरी और बेहतर परिणामों का लाभ मिलेगा.
एम्स दिल्ली के निदेशक का बयान
एम्स दिल्ली के निदेशक डॉ. एम. श्रीनिवास ने कहा कि ऑन्कोलॉजी विभाग में रोबोटिक-सहायता प्राप्त सर्जरी की शुरुआत, एम्स दिल्ली के उस मिशन को दर्शाती है जिसमें सभी को समान रूप से उन्नत स्वास्थ्य सेवाएं उपलब्ध कराना शामिल है. कैंसर के मामलों में तेजी से बढ़ोतरी हो रही है और ऐसे में सटीक इलाज की ज़रूरत और भी अधिक है. मुफ्त सुविधा देकर एम्स यह सुनिश्चित कर रहा है कि आर्थिक स्थिति किसी भी मरीज के इलाज में बाधा न बने.
डिपार्टमेंट हेड का बयान
डॉ. सुनील कुमार, सर्जिकल ऑन्कोलॉजी डिपार्टमेंट के हेड ने कहा कि रोबोटिक-सहायता प्राप्त सर्जरी कैंसर के इलाज के तरीकों को बदल रही है. इससे मरीजों को छोटे चीरे, कम खून बहने, कम दर्द, तेज़ रिकवरी और कम जटिलताओं का लाभ मिलता है. वहीं, सर्जनों को बेहतर दृश्यता, नियंत्रण और सटीकता मिलती है. इस कार्यक्रम के जरिए एम्स दिल्ली सार्वजनिक क्षेत्र में नए मानक स्थापित कर रहा है और पूरे देश के लिए अत्याधुनिक कैंसर उपचार सुलभ कर रहा है.
भविष्य की योजना
विभाग आने वाले समय में सर्जरी के परिणामों का डॉक्यूमेंटेशन करेगा, शोध में योगदान देगा और अपने अनुभवों को व्यापक सर्जिकल समुदाय के साथ साझा करेगा. उच्च मरीज संख्या और आधुनिक तकनीक के संयोजन से एम्स दिल्ली भारत में कैंसर सर्जरी के सर्वोत्तम अभ्यासों को दिशा देने में अहम भूमिका निभा सकेगा.