आजकल की भागदौड़ भरी लाइफस्टाइल में पेट फूलना यानी ब्लोटिंग (Bloating) एक आम समस्या बन गई है. कई बार तो हल्का-फुल्का कुछ खाने के बाद ही ऐसा महसूस होता है जैसे किसी ने पेट में हवा भर दी हो. इसका कारण है घंटों कुर्सी पर बैठे रहना, जंक फूड खाना, कम पानी पीना और फिजिकल एक्टिविटी कम करना.
इस स्थिति में लोग अक्सर दवाओं, डाइट प्लान या महंगे सप्लीमेंट्स की ओर भागते हैं लेकिन राहत की बात यह है कि इसका उपाय आपकी रसोई में ही मौजूद है, काले तिल में.
पेट की जिद्दी चर्बी को गला देता है ये तिल
काले तिल में फाइबर, हेल्दी फैट्स, एंटीऑक्सीडेंट्स और जरूरी खनिज तत्व (Minerals) होते हैं. यह बीज पाचन तंत्र को मजबूत करने, कब्ज से राहत दिलाने और शरीर से टॉक्सिन बाहर निकालने में मदद करता है. इसमें मौजूद फाइबर पेट को साफ रखता है, जिससे पेट फूलने की समस्या धीरे-धीरे कम होने लगती है. इसमें पाए जाने वाले हेल्दी फैट्स शरीर का मेटाबॉलिज्म तेज करते हैं. जब मेटाबॉलिज्म अच्छा होता है, तो शरीर ऊर्जा को तेजी से जलाता है और फैट स्टोर नहीं करता, खासकर पेट के आसपास की जिद्दी चर्बी में फर्क नजर आने लगता है.
कैसे करें काले तिल का सेवन?
1. सुबह खाली पेट चबाकर खाएं
रोजाना सुबह एक छोटा चम्मच भुना हुआ काला तिल खाली पेट चबाएं. यह मेटाबॉलिज्म को तेज करता है और पेट साफ रखने में मदद करता है.
2. रात को भिगोकर सुबह पानी पिएं
एक चम्मच काले तिल को रातभर पानी में भिगो दें. सुबह उठते ही इस पानी को पी लें. कब्ज, सूजन और गैस की समस्या वालों के लिए यह बेहद फायदेमंद है.
3. शहद के साथ भी खा सकते हैं
एक चम्मच तिल में आधा चम्मच शहद मिलाकर खाएं. यह तरीका पेट को ठंडक देता है और फूला हुआ पेट भी जल्दी सही होता है.
किन्हें नहीं खाना चाहिए
काले तिल की तासीर गर्म होती है, इसलिए गर्मी के मौसम में इसे कम मात्रा में लेना चाहिए.
गर्भवती महिलाएं या कोई दवा ले रहे लोग इसे डॉक्टर की सलाह के बाद ही लें.
ज्यादा मात्रा में सेवन पेट में गर्मी और असहजता बढ़ा सकता है.
Disclaimer: खबर में दी गई कुछ जानकारियां विभिन्न मीडिया रिपोर्ट्स और आयुर्वेदिक मान्यताओं पर आधारित हैं. कोई भी घरेलू नुस्खा अपनाने या खानपान में बदलाव करने से पहले संबंधित विशेषज्ञ या डॉक्टर की सलाह जरूर लें.