रूस के कामचटका प्रायद्वीप में बुधवार को आए 8.8 तीव्रता वाले भूकंप ने दुनियाभर में सुनामी की संभावनाओं को जन्म दिया है. रूस, जापान और हवाई की सीमाओं से सुनामी टकरा चुकी है. प्रशांत महासागर के किनारों के करीब कई रिहाइशी इलाकों को खाली करवाया जा चुका है. जापान सरकार का कहना है कि यह सुनामी कई दिनों तक रह सकती है. प्रलय जैसे इन हालात ने कई लोगों को 73 साल पहले आए कमचतका भूकंप की याद दिला दी है. आइए इतिहास के पन्ने पलटकर जानते हैं, क्या था 1952 का कमचतका प्रलय.
20वीं शताब्दी का सबसे खतरनाक भूकंप
सन् 1952 में कामचटका प्रायद्वीप पर आया भूकंप 20वीं शताब्दी की सबसे खतरनाक प्राकृतिक आपदाओं में से एक है. चार नवंबर 1952 को समंदर की सतह में आए उस भूकंप की तीव्रता रिक्टर स्केल पर 9.0 थी. इस भूकंप का केंद्र कामचटका के पूर्वी तट पर था. यह भूकंप कुरील-कामचटका सबडक्शन क्षेत्र में आया. यह क्षेत्र भूकंपीय दृष्टि से सक्रिय क्षेत्र है जहां प्रशांत प्लेट उत्तरी अमेरिकी प्लेट के नीचे मौजूद है.
इस भूकंप के कारण एक विशाल सुनामी उठी जो प्रशांत महासागर में फैल गई. उसकी तुलना रिंग ऑफ़ फायर की अन्य ऐतिहासिक आपदाओं से की गई. 1952 का भूकंप बेहद शक्तिशाली होने के बावजूद उसमें आश्चर्यजनक रूप से सीमित जनहानि हुई. इसका मुख्य कारण यह था कि भूकंप का केंद्र रिहाइशी इलाकों से काफी दूर था. कामचटका की तटीय बस्तियों में संरचनात्मक क्षति की सूचना मिली है, लेकिन रूस में आधिकारिक तौर पर किसी की मौत की पुष्टि नहीं हुई थी.
इस सुनामी से पैदा हुई लहरें भी हवाई तक पहुंच गई थीं. उनकी ऊंचाई 9.1 मीटर (30 फीट) तक दर्ज की गई. लहरों ने वहां बुनियादी ढांचे और तटीय समुदायों को काफ़ी नुकसान पहुंचाया. लेकिन वहां भी किसी की मौत नहीं हुई थी.
कितना खतरनाक है आज का भूकंप?
बुधवार को रूस के कामचटका प्रायद्वीप के पास आए हल्के भूकंप के बाद जापान, अमेरिका के पश्चिमी तट और प्रशांत महासागर के कुछ हिस्सों में सुनामी की चेतावनियां और निकासी के आदेश जारी कर दिए हैं. इस सुदूर क्षेत्र में चार मीटर ऊंची लहरें उठने की भी खबरें हैं. अमेरिकी भूवैज्ञानिक सर्वेक्षण के अनुसार, अब तक के सबसे शक्तिशाली भूकंपों में से एक, यह भूकंप 19.3 किमी (12 मील) की गहराई पर आया.
इसका केंद्र रूस की अवाचा खाड़ी के किनारे स्थित शहर पेट्रोपावलोव्स्क-कामचत्स्की से 126 किमी (80 मील) पूर्व-दक्षिण-पूर्व में था. आपातकालीन स्थिति के क्षेत्रीय मंत्री सर्गेई लेबेदेव ने बताया कि कामचटका के कुछ हिस्सों में तीन से चार मीटर ऊंची सुनामी दर्ज की गई, जिसमें कई लोग घायल हो गए हैं.