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Amarnath Yatra 2022: साल में एक बार होती है अमरनाथ यात्रा, जानिए क्या है गुफा का इतिहास और पौराणिक मान्यताएं

आषाढ़ पूर्णिमा से ही बाबा अमरनाथ की यात्रा शुरू होती है. अमरनाथ की गुफा में भगवना शिव अमरेश्वर स्वरूप में विराजरते हैं और हिमलिंग स्वरूप में अपने भक्तों को दर्शन देते हैं. दुनिया में केवल अमरनाथ की गुफा को छोड़कर और कहीं भी ठोस बर्फ का शिवलिंग अपने आप नहीं बनता है. इसीलिए शास्त्रीय मान्यता है कि इस हिमलिंग के दर्शन पूजन से काशी के तीर्थ पूजन से 100 गुना ज्यादा पुण्य लाभ होता है. समुद्र तल से 3978 मी. की ऊंचाई पर स्थित अमरनाथ की इस गुफा में भगवान शिव ने माता पार्वती को अमरता की कथा सुनाई थी. जिसे माता पार्वती के अतिरिक्त कबूतरों के दो जोड़ों और शुकदेव ने सुना था. प्रार्थना हो स्वीकार के इस शो में जानिए अमरनाथ गुफा का इतिहास.

The journey of Baba Amarnath starts from Ashadh Purnima. In the cave of Amarnath, Lord Shiva resides in the form of Amareshwar and gives darshan to his devotees in the form of Hamling. Know the history of Amarnath cave t. Watch the video to know more.