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unauthorised prepaid payment system के बारे में RBI ने किया अलर्ट, TalkCharge से जुड़ा मामला आया सामने

Reserve Bank of India (RBI) ने अपनी वेबसाइट पर ऑथराइज्ड पेमेंट सिस्टम देने और संचालन करने वाली एंटिटीज की लिस्ट जारी की हुई है. बैंक ने जनता को सलाह दी है किसी भी अनऑथराइज्ड यूनिट को पैसा देते समय सावधानी बरतें.

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भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) ने लोगों से वेबसाइटों या एप्लिकेशन का उपयोग करते समय और ऐसी किसी भी अनधिकृत इकाई (अनऑथराइज्ड यूनिट) को अपना पैसा देते समय ज्यादा सावधानी बरतने की अपील की है.

केंद्रीय बैंक (Reserve Bank of India) ने जनता से खुद यह वेरिफाई करने के लिए कहा है कि जिस वेबसाइट या एप्लिकेशन का उपयोग किया जा रहा है या जिस यूनिट के साथ वे काम कर रहे हैं, वो उसकी गतिविधि को वेरिफाई करने के लिए अधिकृत हैं.

ऑथराइज्ड पेमेंट सिस्टम प्रोवाइडर/ऑथराइज्ड पेमेंट सिस्टम ऑपरेटर्स की लिस्ट RBI की वेबसाइट पर डिस्पले की गई है. 

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TalkCharge से जुड़ा मामला आया सामने
आरबीआई ने देखा है कि गुरुग्राम में रजिस्टर टॉकचार्ज टेक्नोलॉजीज प्राइवेट लिमिटेड (एंटिटी) कंपनी अपनी वेबसाइट और ऐप के माध्यम से प्रीपेड भुगतान उपकरण (वॉलेट) जारी कर रही है. वह भी बिना ऑथराइेशन लिए.

इसलिए कंपनी को 02 अप्रैल, 2024 को अपने प्रीपेड भुगतान उपकरण या वॉलेट के जारी करने और संचालन को रोकने और 15 दिनों के भीतर वॉलेट में रखी शेष राशि वापस करने के निर्देश जारी किए गए थे. जिसे बाद में कंपनी के अनुरोध पर 45 दिनों तक बढ़ा दिया गया था.

इसके बाद RBI ने लोगों के लिए सलाह जारी की है. 

बैंक ने कहा है कि रिजर्व बैंक के संज्ञान में यह आया है कि यूनिट ने अपने ग्राहकों को कानूनी नोटिस जारी कर कैशबैक वापस करने की मांग की है, ऐसा न करने पर मामला आरबीआई को सूचित किया जाएगा.

इस तरह कंपनी ने लोगों के मन में यह धारणा बना दी है कि वे आरबीआई के निर्देशों के अनुसार, ग्राहकों से कैशबैक राशि की मांग कर रहे हैं. हालांकि, आरबीआई ने साफ किया कि उसने यूनिट को सिर्फ ग्राहकों को वॉलेट में पड़ी प्रीपेड राशि वापस करने का निर्देश दिया है.