पंडित धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री की सनातन एकता पदयात्रा के आठवें दिन की विशेष कवरेज, जो बाल दिवस के अवसर पर बच्चों की भागीदारी से और भी खास हो गई। दिल्ली से वृंदावन तक की इस यात्रा का मुख्य उद्देश्य समाज से जातिवाद और छुआछूत को मिटाना है.
बागेश्वर धाम के पीठाधीश्वर धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री की 'सनातन एकता यात्रा' दिल्ली से हरियाणा होते हुए उत्तर प्रदेश के मथुरा पहुँच गई है. इस पदयात्रा का मुख्य उद्देश्य जातिवाद को समाप्त कर सनातन एकता का संदेश देना है. यात्रा में कुमार विश्वास जैसी हस्तियों सहित बड़ी संख्या में श्रद्धालु शामिल हो रहे हैं. यात्रा के दौरान हुई एक चर्चा में महामंडलेश्वर नवल किशोर दास और आचार्य चंद्रांशु जी महाराज जैसे धर्मगुरुओं ने राजनीतिक दलों पर अपने स्वार्थ के लिए समाज को जाति के आधार पर बाँटने का आरोप लगाया.
बाबा बागेश्वर धीरेंद्र शास्त्री की सनातन हिंदू एकता पदयात्रा अपने अंतिम चरण में पहुँच गई है. हरियाणा से उत्तर प्रदेश में प्रवेश करने के बाद, यात्रा का समापन 16 नवंबर को वृंदावन में होगा. इस पदयात्रा के दौरान भक्ति और संगीत के कई रंग देखने को मिल रहे हैं, जिसमें गायक जॉनी सूफी, अमित धुर्वे और भोजपुरी गायक अंकुश-राजा बंधुओं ने अपनी प्रस्तुतियों से भक्तों का मन मोह लिया. भोजपुरी गायक अंकुश राजा ने मंच से कहा, 'हिंदुत्व राष्ट्र बने हमारा यही है सबका मन, चलो हो रे चलो रे वृंदावन.' यात्रा के दौरान बाबा बागेश्वर भी अलग-अलग रूपों में नज़र आए; कहीं वे भक्तों के साथ ढोल-नगाड़े बजाते दिखे तो कहीं बच्चों को सनातन का अर्थ समझाते हुए. यह दस दिवसीय यात्रा दिल्ली से शुरू हुई थी और अब अपने समापन की ओर अग्रसर है.
पंडित धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री की सनातन एकता यात्रा अपने सातवें दिन मथुरा के ब्रज क्षेत्र में प्रवेश कर गई है, जहां उनका भव्य स्वागत हुआ। इस यात्रा में कवि कुमार विश्वास भी शामिल हुए और उन्होंने धीरेंद्र शास्त्री का समर्थन किया। कुमार विश्वास ने कहा, 'बागेश्वर धाम में बैठे हुए 27 वर्ष के युवक के पास पहुँचकर अगर लाखों लोग दिनभर में सोचते हैं कि ईश्वर की कृपा हो गई तो वो किसी डॉक्टर से बड़ा है, किसी वैज्ञानिक से बड़ा है, इसी साधु से बड़ा है.
बागेश्वर धाम के पीठाधीश्वर धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री की दिल्ली से वृंदावन तक 'सामाजिक समानता' पदयात्रा में भारी भीड़ उमड़ रही है. इस यात्रा में कवि कुमार विश्वास, कलाकार राहुल मिश्रा (जोजो और जॉनी) समेत कई हस्तियां शामिल हुईं, जिन्होंने अपने प्रदर्शन से भक्तों में उत्साह भर दिया. कुमार विश्वास ने यमुना नदी की स्वच्छता का संकल्प लेने का आह्वान करते हुए कहा, 'बागेश्वर धाम में बैठे हुए 27 वर्ष के युवक के पास पहुँचकर अगर लाखों लोग दिनभर में सोचते है की ईश्वर की कृपा हो गई तो वो किसी डॉक्टर से बड़ा है, किसी वैज्ञानिक से बड़ा है, इसी साधु से बड़ा है, ये देश को समझना पड़ेगा.' यात्रा का उद्देश्य सामाजिक समरसता और सनातन धर्म का प्रचार करना है.
पंडित धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री की 'सनातन एकता यात्रा' छठे दिन भी जारी रही, जिसका मकसद समाज से जात-पात का भेद मिटाना है। दिल्ली से वृंदावन तक की इस 170 किलोमीटर की पदयात्रा में हजारों भक्त शामिल हो रहे हैं। यात्रा के दौरान पंडित धीरेंद्र शास्त्री की तबीयत बिगड़ गई और उन्हें 104 डिग्री तक बुखार हो गया, लेकिन उन्होंने यात्रा जारी रखने का संकल्प लिया। हमारे सहयोगी से बातचीत में उन्होंने कहा, 'बुखार भले ही 104 रहे पर सड़क पार पूरी करेंगे, पूरी यात्रा करेंगे.
बागेश्वर धाम के प्रमुख धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री की दिल्ली से वृंदावन तक 'सनातन एकता पदयात्रा' में राजनीति और संगीत जगत की कई हस्तियां शामिल हुईं. इस पदयात्रा का समापन 16 नवंबर को होना है, जिसका उद्देश्य सनातन संस्कृति को बढ़ावा देना और जातिवाद को खत्म करना है. इस दौरान भाजपा सांसद मनोज तिवारी, अभिनेता दिनेश लाल यादव 'निरहुआ', और गायक हंसराज रघुवंशी व अंजलि द्विवेदी जैसे कलाकारों ने भजन और गीतों से श्रद्धालुओं में उत्साह भरा. पदयात्रा में शामिल हुए अभिनेता और राजनेता दिनेश लाल यादव 'निरहुआ' ने कहा, 'हिंदू से बड़ा हिंदू का कोई दुश्मन नहीं है.'
बागेश्वर धाम के प्रमुख पंडित धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री की 'सनातन हिंदू एकता पदयात्रा' का आज पांचवा दिन है। दिल्ली से वृंदावन तक की इस 170 किलोमीटर की यात्रा का उद्देश्य हिंदुओं को एकजुट करना और जातिवाद को मिटाना है। इस दौरान धीरेंद्र शास्त्री ने दिल्ली में हुए हालिया विस्फोट पर प्रतिक्रिया देते हुए हिंदुओं से जागृत होने का आह्वान किया.
बागेश्वर धाम के पीठाधीश्वर पंडित धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री ने जातिवाद को खत्म करने और सनातनियों को एकजुट करने के उद्देश्य से 'सनातन हिंदू एकता पदयात्रा' का नेतृत्व किया है. यह लगभग 170 किलोमीटर की पदयात्रा दिल्ली से शुरू होकर हरियाणा के पलवल से गुजरते हुए वृंदावन में समाप्त होगी. इस यात्रा में आम श्रद्धालुओं के साथ-साथ द ग्रेट खली और शिखर धवन जैसी प्रसिद्ध हस्तियां भी शामिल हुई हैं. धीरेंद्र शास्त्री ने अपने संकल्प को दोहराते हुए कहा कि सनातनियों की एकता होने तक ऐसी पदयात्राएं जारी रहेंगी.
बागेश्वर धाम के पीठाधीश्वर पंडित धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री की 'सनातन एकता यात्रा' में आस्था का जनसैलाब उमड़ पड़ा है. 7 नवंबर को दिल्ली के छत्तरपुर से शुरू हुई यह 170 किलोमीटर की पदयात्रा 16 नवंबर को वृंदावन में समाप्त होगी. इस यात्रा का उद्देश्य जातियों के भेदभाव को खत्म कर सनातनियों को एक करना और हिंदू राष्ट्र के लिए जनजागरण करना है. यात्रा में हजारों भक्त शामिल हैं और सुरक्षा के कड़े इंतजाम किए गए हैं. इस यात्रा को लेकर पंडित धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री ने कहा, 'देश की प्रत्येक हिंदू लोगों के विचारों में परिवर्तन चाहते हैं, कागजों में नहीं, हिंदू राष्ट्र में विचारों में चाहिए.' यात्रा में राजस्थान से आए दो ऊंट 'राजा' और 'विक्रम' भी आकर्षण का केंद्र बने हुए हैं, जिन्हें उनके मालिक हिंदू राष्ट्र के समर्थन में लेकर आए हैं. यात्रा के दौरान श्रद्धालु पूरी भक्ति और उत्साह के साथ नंगे पैर भी चलते नजर आ रहे हैं.
बागेश्वर धाम के पीठाधीश्वर पंडित धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री ने 'सनातन एकता और सामाजिक समरसता' के लिए दिल्ली से वृंदावन तक 170 किलोमीटर की पदयात्रा शुरू की है। धीरेंद्र शास्त्री का कहना है, 'हम देश की प्रत्येक हिंदुओं के विचारों में परिवर्तन चाहते हैं, कागजों में नहीं।' इस यात्रा का उद्देश्य जातिगत भेदभाव को खत्म कर हिंदुओं को एकजुट करना है। 7 नवंबर को दिल्ली के छतरपुर स्थित कात्यायनी मंदिर से शुरू हुई यह यात्रा 16 नवंबर को वृंदावन के बांके बिहारी मंदिर में समाप्त होगी.